बजरंग दल के राष्ट्रीय संयोजक ने बटोगे तो कटोगे नारे का किया समर्थन , आरएसएस प्रमुख के बयान पर कहा की किसी भी बयान का आड लेकर नहीं छुपाया जा सकता तथ्यों को
भीलवाड़ा- बजरंग दल के राष्ट्रीय संयोजक नीरज दोनेरिया ने आज भीलवाड़ा के हरी सेवा उदासीन आश्रम में 3100 बजरंगियों को त्रिशूल दीक्षा दिलाई इस दौरान उन्होंने बटोगे तो काटोगे नारे का समर्थन किया और आरएसएस प्रमुख मोहन के बयान हर मस्जिद के नीचे मंदिर नहीं हो सकता है जिस पर कहा की बयान की आड़ लेकर तथ्यो को नहीं छुपाया जा सकता है।
भीलवाड़ा शहर के हरी सेवा उदासीन आश्रम परिसर में आज विश्व हिंदू परिसद और बजरंग दल की ओर से विराट त्रिशूल दीक्षा का आयोजन किया गया जिसमें 3100 बंजरगियो को त्रिशूल दीक्षा बजरंग दल के राष्ट्रीय संयोजक नीरज दोनेरिया ने दिलाई । इस दौरान उन्होंने कहा कि धर्म की रक्षा के लिए हर व्यक्ति को देश में सजक रहना चाहिए।
भीलवाड़ा शहर के हरी सेवा उदासीन आश्रम परिसर में आज विश्व हिंदू परिषद व बजरंग दल की ओर से विराट त्रिशूल दीक्षा कार्यक्रम का आयोजन किया गया है जिसमें हरी सेवा उदासीन आश्रम के महामंडलेश्वर मंहत हंसराम , संत मोहन शरण , बनवारी शरण काटिया बाबा सहित बजरंग दल व विश्व हिंदू परिषद के पदाधिकारी व कार्यकर्ता मौजूद थे। कार्यक्रम में 3100 बजरंगीयो को विश्व हिंदू परिषद के राष्ट्रीय संयोजक नीरज दोनेरिया ने त्रिशूल दिक्षा दिलाई। त्रिशूल दिक्षा के बाद शहर में संचलन निकाला जिनका जगह-जगह पुष्प वर्षा कर स्वागत किया गया।
कार्यक्रम की समाप्ति के बाद बजरंग दल के राष्ट्रीय संयोजक नीरज दोनेरिया ने प्रेस से मुखातिब होते हुए कहा की बटोगे के तो काटोगे एक हिंदू समाज को सावधान करने का विषय है अब हिन्दुओ को संगठित रहने का समय है एक लंबे समय से हिंदू समाज के साथ यही दुर्भाग्य हुआ है की पीढ़ी दर पीढी मुसलमानो का आक्रमण हुआ तब भी हिंदुओं पर बांटने और काटने का काम हुआ था इसीलिए अब हिंदू सामूहिक रहते हुऐ सजग रहे और संस्कारो व मूल्य पर चले जिसकी बहुत आवश्यकता है।
मस्जिद के नीचे मंदिर के दावे को लेकर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत में बयान दिया कि हर मस्जिद के नीचे मंदिर नहीं हो सकता जिस सवाल को लेकर बजरंग दल के राष्ट्रीय संयोजक ने कहा कि किसी विषय को लेकर किसी बयान का आड़ लेकर तथ्यो को छिपाया नहीं जा सकता है। देश के अंदर हिंदू समाज की मान्यता के अनुसार पौराणिक काल मे जिस समय मुसलमानो का आक्रमण हुआ तब 30 से ज्यादा मन्दिर टूटे। उन मंदिरों पर मंजिद, मजार बना दी। इन स्थानों को पुन मांगने के लिए हिन्दू समाज बल प्रयोग नहीं कर रहा है । हिन्दु समाज तो न्यायालय में जा रहा है। इन स्थानो को लेने के लिए हिंदू समाज सीधा जा सकता लेकिन जो समाज अपने सामर्थ्य व ताकत का गलत उपयोग नहीं कर न्यायालय की शरण में गया है। राजस्थान मे अब हिंदू समाज जागृत होकर अपने धर्मस्थल लेना चाहता है जहा तक अजमेर के मामले में मेरी यह जानकारी है कि वहां न्यायालय मे रिट लगी है । न्यायालय अगर सर्वे का आदेश देता तो सर्वे हो? और सर्वे न्यायालय के आदेश से शांति- शांति से हो सके। इसकी व्यवस्था प्रशासन से करनी चाहिए।अजमेर शरीफ के मामले में अजमेर शरीफ के पदाधिकारीयो को साक्ष्य है तो कोर्ट में लेकर जाना चाहिए इसमें विवाद जैसा विषय है ही नहीं । अजमेर शरीफ के मामले में दोनों पक्षों को कोर्ट का सम्मान करना चाहिए।
बाईट- नीरज दोनेरिया
राष्ट्रीय संयोजक, बजरंग दल
Social Plugin