नवसृजित जिले के सीमांकन से पूर्व ही उठने लगे विरोध के स्वर , मांडलगढ़ विधायक गोपाल खंडेलवाल ने मुख्यमंत्री, राजस्व मंत्री व जिला कलेक्टर को लिखा पत्र, मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र को भीलवाड़ा जिले में ही रखने की की मांग

भीलवाड़ा- नवसृजित जिले के सीमांकन को लेकर अब विरोध के स्वर उठने लगे हैं जहां भीलवाड़ा जिले में शाहपुरा नया जिला बनाने के साथ ही भीलवाड़ा जिले के मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र को शाहपुरा जिले में सम्मिलित किए जाने की खबर मीडिया व सोशल मीडिया में वायरल होने के बाद विरोध के स्वर उठने लगे हैं। जहा मांडलगढ़ विधायक गोपाल खंडेलवाल ने मुख्यमंत्री ,राजस्व मंत्री व जिला कलेक्टर को पत्र लिखकर मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र की मांडलगढ़ ,कोटडी व बिजोलिया तहसील को शाहपुरा जिले में शामिल नहीं कर भीलवाड़ा जिले में ही रखने की मांग की है।

जहां मांडलगढ़ से भाजपा विधायक गोपाल खंडेलवाल ने मुख्यमंत्री, राजस्व मंत्री व जिला कलेक्टर को पत्र लिखा है इसमें नवसृजित जिला शाहपुरा की सीमांकन में मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र की मांडलगढ़, बिजोलिया व कोटड़ी तहसील को शामिल नहीं किया जाए क्योंकि मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र का संपूर्ण क्षेत्रफल की दृष्टि से शाहपुरा जिला मुख्यालय से बहुत अधिक दूरी पर स्थित है जबकि भीलवाड़ा जिला मुख्यालय पर आवागमन के साथ ही लोगों का काफी जुड़ाव है ऐसे में मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र की मांडलगढ़, बिजोलिया व कोटड़ी तहसील को भीलवाड़ा जिले में ही रखा जाए । अगर सरकार हठधर्मिता से मांडलगढ़ विधानसभा क्षेत्र को शाहपुरा जिले में सम्मिलित करती है तो इनका पुरजोर विरोध करते हुए विशाल जन आंदोलन किया जाएगा जिसकी जिम्मेदारी प्रशासन व सरकार की होगी।

भीलवाड़ा जिले में शाहपुरा को बनाया नया जिला- हाल ही में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रदेश में 19 नए जिले बनाने की घोषणा की थी उसमें भीलवाड़ा जिले के शाहपुरा को नया जिला बनाया गया । शाहपुरा नया जिला बनने से शाहपुरा क्षेत्र के लोगों में काफी खुशी है काफी लंबे समय से शाहपुरा के लोग शाहपुरा जिला बनाने की मांग कर रहे थे जिनकी मांग मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने पूरी की मगर अब जिले की सीमांकन को लेकर विवाद शुरू हो गया है।