निजी चिकित्सकों की हड़ताल के चलते महात्मा गांधी अस्पताल मैं बढा आउटडोर, पीएमओ ने की अस्पताल में सुदृढ़ व्यवस्था , मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल ने जिले के सभी चिकित्सा कर्मियों की छुट्टी की निरस्त

भीलवाड़ा-हाल ही मे सरकार ने विधानसभा में राइट टू हेल्थ बिल पास किया उसके विरोध में पिछले लगभग 1 सप्ताह से प्रदेशभर के निजी चिकित्सालय बंद है वहीं निजी चिकित्सकों को कहीं जगह सरकारी चिकित्सक भी समर्थन दे रहे हैं।  लेकिन प्रदेश सरकार की सख्ती के चलते आज सरकारी अस्पताल में व्यवस्था सुचारू नजर आ रही है। जहा भीलवाड़ा के महात्मा गांधी अस्पताल में निजी अस्पताल की हड़ताल के चलते आउटडोर काफी बढा है जो वर्तमान में 3000 के करीब पहुंच चुका है । वहीं भीलवाड़ा की राजमाता विजय राजे सिंधिया मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल ने जिले के सभी चिकित्सा विभाग के डॉक्टर व नर्सिंग कर्मियों की छुट्टी रद्द कर दी है वहीं भीलवाड़ा के महात्मा गांधी अस्पताल की ओपीडी में सुदृढ़ व्यवस्था की है जहा अस्पताल के अंदर व बाहर पुलिस का जाब्ता भी तैनात किया है।

 भीलवाड़ा जागरूक की टीम भीलवाड़ा के महात्मा गांधी अस्पताल में पहुंची जहां पहले कंप्यूटर से पर्ची बनाने के कारण मरीजों को लगभग 1 घंटे पर्ची लेने के लिए इंतजार करना पड़ता था लेकिन वर्तमान में आज सरकार की सख्ती के चलते महात्मा गांधी अस्पताल के पीएमओ डॉ अरुण गौड ने व्यवस्थाओं में परिवर्तन किया है जहां अस्पताल मे दिखाने आये मरीजों को किसी प्रकार की दिक्कत नहीं हो इसलिए कंप्यूटर के बजाय हाथ से लेकर तुरंत पर्ची दी जा रही है । वहीं अस्पताल के तमाम ओपीडी में अतिरिक्त डॉक्टर की व्यवस्था की है। प्रत्येक कमरे में दो-दो डॉक्टर बिठाए गए हैं ।

जहां भीलवाड़ा के महात्मा गांधी अस्पताल के पीएमओ डॉ अरुण गौड ने कहा कि हमारा मुख्य उद्देश्य है कि कोई भी गंभीर मरीज महात्मा गांधी अस्पताल में आता है तो उनको तुरंत उपचार मिले। महात्मा गांधी अस्पताल में आए मरीज को उपचार के अभाव में खाली हाथ वापस नहीं जाना पडे इसके लिए आउटडोर में एक कमरे में दो- दो डॉक्टर बिठाए हैं। वर्तमान में डॉक्टरों की हड़ताल के चलते महात्मा गांधी अस्पताल में वर्क लोड बढा है हमने आईसीयू में बेड बढ़ाए हैं ओर एक नए आईसीयू वार्ड की शुरुआत की है जिसमें 12 बेड लगाये है । वर्तमान में सीटी स्कैन, एमआरआई, सोनोग्राफी व डिलीवरी की संख्या बढी है। हमारा पूरा प्रयास है कि इन परिस्थितियों में गंभीर मरीज किसी भी हालत में परेशान नहीं हो।

 क्या सरकारी चिकित्सक भी हड़ताल पर है जिस सवाल पर पीएमओ ने कहा कि हमारा पूरा फोकस इसी चीज पर है कि हम आपातकालीन व्यवस्था है उसे हर हालत में सुचारू रूप से चलाएं रखें। उसको हम किसी भी हालत में अव्यवस्थित नहीं होने दे । वहीं डॉक्टरों की ड्यूटी का काम उप नियंत्रक देख रहे हैं हमारे अस्पताल में एक रिपोर्ट तैयार की जा रही है जो सरकार को भेजी जाती हैं। सामान्य रूप से आज सभी चिकित्सा कर्मियों की छुट्टी राजमाता विजयराजे मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल ने निरस्त कर दी हैं । प्राइवेट अस्पताल की हड़ताल के चलते वर्तमान में आउटडोर 3000 से ऊपर जा रहा है वर्तमान में डिलीवरी ज्यादा हो रही है।


वही अपनी दवाई लेने व डॉक्टर को दिखाने आये आमली गांव के रामलाल ने कहा की वर्तमान में मुझे बुखार व अन्य तकलीफ है मैं पहले निजी अस्पताल में दिखाता था लेकिन वह हड़ताल के चलते आज यहां अस्पताल में दिखाने आया हूं पहले भी एक बार आया था लेकिन पर्ची लेने में काफी वक्त लगता था लेकिन आज हाथ से पर्ची देने के कारण कुछ भी समय नहीं लग रहा है। मैं तो चाहता हूं कि निजी अस्पताल के डॉक्टरों को भी मानवियता को देखते हुए हड़ताल को खत्म करनी चाहिए।